नई दिल्ली : (Social Diary News) दिल्ली हिंसा इंसानियत को शर्मसार करने वाली है. इस हिंसा में कपिल मिश्रा द्वारा अपने ही दोस्त ताहिर हुसैन को फंसाए जाने की खबरे आ रही है. औरसेक्युलर माने जाने वाली आम आदमी पार्टी जिसने 15 लाख कैमरे लगवाये थे उसने बिना जांच पड़ताल के ताहिर हुसैन को पार्टी के पद से हटाया. गौरतलब हो की कपिल मिश्रा भी आम आदमी पार्टी का पूर्व नेता है.बताया जा रहा है की, ताहिर हुसैन के मकान में ही उसका ऑफिस भी था. सोशल मीडिया में चर्चा है के, ताहिर हुसैन कोसेक्युलरिज्म ले डूबा और ताहिर ने आस्तीन में सांप पाल रखा तो जिसने उसीकी डस लिया.
दूसरी खबर है के IB अफसर की भी हात्या जय श्रीराम के नारों के साथ कीगयी है. यह बयान उसी के भाई ने दिया था. लेकिन बादमे उसने अपने बयान को बदल दिया जबकिवह अफसर ब्राम्हण था. तीसरी खबर है की 2 महीने पहले शादी के बंधन में बंधे मुहम्मद मोहसिन की भी हात्या की गयी है. सोशल मीडिया पर उसकी तर्विरे वायरल हो रही थी जिसके मुताबिक़ वह RSS की विंग राष्ट्रिय मुस्लिम मंच का सक्रीय कार्यकर्ता था.
नाम- मोहम्मद मोहसिन, उम्र 25-26 वर्ष
कुछ समय पहले शादी हुई थी। कल तक इनके लापता होने की पोस्ट फेसबुक पर तैर रही थी। आज इनकी जली हुई गाड़ी मिली। वहीं जीटीबी हॉस्पिटल से इनकी खून से लतपत लाश मिली। सर पर भारी चोट। बॉडी पर जगह जगह लाठी डंडे के निशान। आप सोचिए बेरहमी किस हद तक की गई होगी? दो मिनट आंखें बंद करके सोचिए रूह कांप जाएगी। मेरा सिर्फ एक सवाल। क्यों मारा गया? सिर्फ इसलिए मुसलमान था? नाम मोहसिन था?
कुछ समय पहले शादी हुई थी। कल तक इनके लापता होने की पोस्ट फेसबुक पर तैर रही थी। आज इनकी जली हुई गाड़ी मिली। वहीं जीटीबी हॉस्पिटल से इनकी खून से लतपत लाश मिली। सर पर भारी चोट। बॉडी पर जगह जगह लाठी डंडे के निशान। आप सोचिए बेरहमी किस हद तक की गई होगी? दो मिनट आंखें बंद करके सोचिए रूह कांप जाएगी। मेरा सिर्फ एक सवाल। क्यों मारा गया? सिर्फ इसलिए मुसलमान था? नाम मोहसिन था?
अपने वोट बैंक को पक्का करने के चक्कर में मुसलमानों को NRC के बजाय CAA पर भड़काने वाले तथाकथित #हिन्दू_सेक्युलर नेता भी इन दंगों के लिए मिश्रा के जितने ही जिम्मेदार हैं। CAA के विरोध ने नॉन पोलिटिकल हिन्दू के दिमाग में ये बात बैठा दी कि मुसलमान हिन्दू विरोधी मानसिकता के हैं। आज हिंदुस्तानी कौम दरअसल फैक्ट्री की पैदाइश बन गई है... नौकरियां हासिल करने के लिए मेडिकल, इंजीनियरिंग, लॉ, कॉमर्स, कंप्यूटर साइंस सब पढ़ाई जा रही है... बस राजनीति के चलते इंसानियत नहीं पढ़ाई जा रही है