एक खबर फिलहाल सुर्खियों में है "साधू की मीट खरीदते हुए फोटो फेसबुक पर पोस्ट करने पर मुस्लिम युवक गिरफ्तार" गिरफ्तार युवक मुस्लिम है. हमारा तो मानना है की बहुत अच्छा हुआ जो गिरफ्तार किया.दुश्मनों ने रचाए साजिश में फंसने वाले बेवकूफ ही होते है. और एक बेवकूफ सारे परिवार के परेशानियों की जड़ बनता है. वैसे तो लोगो का मानना है की, जो साधू मिट खरीद रहा है उसकी गलती है. मिट खरीदते हुए साधू की तस्वीर वायरल करना कोई गुनाह नहीं. लेकिन जब बात नाजुक दौर की हो तो मुसलमानों ने यह भी सोचना चाहिए की, मुस्लिम नौजवानों को किस तरह टारगेट किया जा रहा है. मुसलमान फिलहाल एक ताक्र्गेत मजलूम वर्ग बना हुआ है. मुसलमान अपने इस्लाम को छोड़कर ऐसी फाल्तुगिरी कर्नेगे तो उनका अंजाम यही होगा.
इन लोगो पर कोई मामला दर्ज नहीं होता. ना ही इनकी गिरफ्तारियां होती है. क्यूंकि टारगेट सिर्फ मुसलमान है. क्यूंकि मुसलमानों का कोई संगठन है और ना कोई नेता |
कुरआन में अल्लाह ने साफ़ साफ़ हुक्म दिया है, गैर मुस्लिमो के इबादतगाह (मंदीर, चर्च, गुरुद्वारा) को नुक्सान ना पहुँचाओ, और उनके पूजनीय (देवी,देवता, साधू, संतो) को बुरा भला मत कहो.
जब मुसलमान कुरआन के विरूद्ध जाकर ऐसे कारनामे करता है तो वह मुसलमान कहलाने के लायक नहीं. अगर अनजाने में कोई नवजवान ऐसी हरकत कर बैठता है तो उसे बचाने के लिए कोई आवाज नहीं उठाता.
इन लोगो पर कोई मामला दर्ज नहीं होता. ना ही इनकी गिरफ्तारियां होती है. क्यूंकि टारगेट सिर्फ मुसलमान है. क्यूंकि मुसलमानों का कोई संगठन है और ना कोई नेता |
तब हर मुस्लिम नवजवान से हम यह अपील करते है की, सोशल मीडिया पर गैर इस्लामिक पोस्ट, किसीको बुरा-भला कहना, कोई आपत्तिजनक चीजे सर्च करना, ऐसे काम छोड़कर मुसलमानों को जागरुक करने का काम करे. चार साल का बच्चा भी ऐसे लोगो से समझदार होता है. अगर बच्चे को कुत्ता काट ले तो वह बच्चा कुत्ते को नहीं काटता क्यूंकि उसे पता है के वह इंसान का बच्चा है काटने फितरत उसमे नहीं है. और काटने से बदला भी नहीं लिया जा सकता. लेकिन हमारे नवजवान भाई जिनकी संख्या 95 प्रतिशत है वह फल्तुगिरी कर दुश्मनों के बिछाए हुए साजिशो का शिकार हो रहे है. जो बहुत गंभीर विषय है.
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अहेमद कुरैशी
प्रदेशाध्यक्ष रिहाई मंच, महाराष्ट्र
इन लोगो पर कोई मामला दर्ज नहीं होता. ना ही इनकी गिरफ्तारियां होती है. क्यूंकि टारगेट सिर्फ मुसलमान है. क्यूंकि मुसलमानों का कोई संगठन है और ना कोई नेता |
साधू की मीट खरीदते हुए फोटो फेसबुक पर पोस्ट करने पर मुस्लिम युवक गिरफ्तार
झाबुआ भोपाल के एक युवा चिकित्सक अतीक अफ़ज़ल खान को आई पी सी की धारा 505(2) के तहत गिरफ्तार किया गया है , उनपर आरोप है कि उन्होंने फेसबुक पर एक साधू की मीट खरीदते हुए फोटो को शेयर किया।
योगी आदित्यनाथ के मुख्यमंत्री बनने के बाद बीफ और मीट इस देश का सबसे बड़ा मुद्दा उभर कर आरहा है। ऐसे में जो भी व्यक्ति किसी भी प्रकार की आलोचना या व्यंग कर रहा है , गिरफ्तार या टारगेट किया जा रहा है। ऐसी ही एक गिरफ्तारी मध्यप्रदेश के भोपाल से हुई जहां एक युवक ने एक साधू की मीट खरीदते हुए फोटो किया और उसके साथ व्यंगात्मक कैप्शन डालते हुए लिखा " रहीम की दूकान से राम हरी सब्ज़िया खरीदते हुए , एक दुर्लभ तस्वीर।"
कोतवाली पुलिस स्टेशन के कांस्टेबल ने क्विंट को बताया : " यह कंप्लेट अनिल हेमराज प्रजापति द्वारा दर्ज की गयी थी। अभियुक्त ने मीट खरीदते हुए साधू की फोटो पोस्ट कर "राम" लिखा था। अभियुक्त अतीक को अदालत के सामने प्रस्तुत किया जहां 11 अप्रेल तक उनको कस्टडी में भेजा गया है।
उपरोक्त सभी तस्वीरे फेसबुक से ली गयी है. इन तस्वीरों को वायरल करने वालो पर कोई मामला दर्ज नहीं होता और ना किसीकी गिरफ्तारी होती है. यही इस बात का सबसे बड़ा सबूत है के, टार्गेट सिर्फ मुसलमान है.
तो सोशल मीडिया पर उटपटांग पोस्ट करने से बचे. घर का खाकर मामू की बकरियां ना चराने की गुजारिश
इन लोगो पर कोई मामला दर्ज नहीं होता. ना ही इनकी गिरफ्तारियां होती है. क्यूंकि टारगेट सिर्फ मुसलमान है. क्यूंकि मुसलमानों का कोई संगठन है और ना कोई नेता |
तो सोशल मीडिया पर उटपटांग पोस्ट करने से बचे. घर का खाकर मामू की बकरियां ना चराने की गुजारिश